कराची । एक ही सप्ताह के भीतर दो मुस्लिम देशों के बीच भारत की पैठ पर पाकिस्तानी मूल के राजनीतिक जानकार और बिजनेसमैन साजिद तरार ने टिप्पणी की है। उन्होंने कहा है कि भारत का सबसे बड़ा हथियार तकनीकी क्षेत्र में उनका स्किल है। भारत का सबसे बड़ा हथियार आईआईटी और आईआईएम है। इसकारण भारतीयों ने पूरी दुनिया फतह की है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का कतर और यूएई दौरा इसलिए भी महत्वपूर्ण होता है, क्योंकि मंदिर का उद्घाटन एक मुस्लिम देश में और दूसरी तरफ, कतर ने हाल ही में जेल में बंद नौसेना के आठ पूर्व नौसैनिकों को रिहा कर दिया है। इन सभी भारतीयों को पिछले साल 26 अक्टूबर को कतर की कोर्ट ने फांसी की सजा सुनाई थी। हालांकि, बाद में कोर्ट ऑफ अपील ने फांसी की सजा पर रोक लगा दी थी। एक ही सप्ताह के भीतर दो मुस्लिम देशों के बीच भारत की पैठ पर पाकिस्तानी मूल के कारोबारी तरार ने कहा है, मैंने पहले ही कहा था कि भारत जिस तरह से आज दुनिया में डॉमिनेट कर रहा है। कतर इन लोगों को छोड़ेगा। इसमें कोई बड़ी बात नहीं है। इसके अलावा एक खबर आई थी कि अमेरिका ने भारत को ड्रोन डिलीवरी पर रोक लगा दी है। उस वक्त भी मैंने कहा था कि अमेरिका भारत को ड्रोन देगा। और दूसरे ही दिन खबर आई कि अमेरिका भारत को ड्रोन डिलीवर करेगा। इंटरव्यू में तरार ने कहा, इसकी वजह यह है कि मैं वॉशिंगटन डीसी को देख रहा हूं। मैं यहां भारतीय प्रवासियों का, भारत की इकॉनमी का, वैज्ञानिक उपलब्धियों का इन्फलुएंस देख रहा हूं। इसके अलावा भारत के अंदर बेहतर कानून व्यवस्था और चीन का नीचे जाना देखता हूं, तब मुझे भारत बहुत ही शक्तिशाली देश नजर आता है।
इसमें कोई शक नहीं है कि अमेरिका में यहूदी लॉबी के बाद सबसे ज्यादा प्रभावी अभी इंडियन लॉबी है। मुझे यह कहने में कोई गुरेज नहीं है कि हो सकता है कि इंडियन लॉबी यहूदी लॉबी से भी मजबूत हो। पीएम मोदी के यूएई दौरे को लेकर तरार ने कहा कि नरेंद्र मोदी का यह सातवां यूएई दौरा है। इस पीएम मोदी के चुनावी कैंपेन के नजरिये से भी देखा जाना चाहिए। 27 एकड़ की जमीन पर यूएई में मंदिर बना है। पीएम मोदी हमेशा चुनावी कैंपेन मोड में होते हैं।
भारत और कतर के बीच हुई अहम ट्रेड डील
तरार ने कहा, अभी भारत में कतर में फंसे नेवी सैनिकों की घर वापसी और पीएम मोदी का यूएई और कतर दौरा सबसे ज्यादा चर्चाओं में है। अब सवाल यह है कि इन आठों नेवी नौसैनिकों को कैसे छोड़ा गया है? इसके पीछे क्या कारण हैं? इसके पीछे सबसे बड़ा कारण ट्रेड है। उस क्षेत्र के सात मुल्कों ने पहले ही पीएम मोदी को सर्वोच्च नागरिक सम्मान पुरस्कार से नवाजा है। इन देशों में 90 लाख से ज्यादा प्रवासी भारतीय रहते हैं। इन देशों के साथ 85 बिलियन डॉलर का व्यापार हो रहा है। उन्होंने कहा, अब सवाल यह है कि दोनों देशों के बीच क्या ट्रेड हुआ है? भारत ने अपने 8 नेवी नौसैनिकों को कतर से छुड़ाया है, तब भारत ने कतर को क्या दिया है? तब ट्रेड यह हुआ है कि वर्तमान में भारत दुनिया का तीसरा सबसे बड़ा तेल आयातक देश है। भारत ने कतर को बहुत बड़ा कॉन्ट्रैक्ट दिया है। 2048 तक भारत कतर से गैस आयात करेगा। इसकी वैल्यू 78 बिलियन डॉलर है। अब जब 78 बिलियन डॉलर का ट्रेड हो, 2048 तक का कॉन्ट्रेक्ट हो तब क्या आप उनके कैदी रख सकते हैं? इस ट्रेड के लिए दोनों देशों के बीच 78 बिलियन अमेरिकी डॉलर के समझौते पर हस्ताक्षर किए गए हैं।
तरार ने कहा, हालांकि, भारत के विदेश सचिव विनय मोहन क्वात्रा ने यह नहीं बताया है कि उन्हें कैसे छोड़ा गया है। क्या अदालत ने रिहा किया है या कतर के अमीर ने उन्हें माफी दे दी है। लेकिन रिपोर्टे के मुताबिक, साल में दो बार कतर के अमीर आम जनता को माफी देते हैं। पीएम मोदी खुद कतर गए थे। इस दौरान उन्होंने अमीर से अनुरोध किया था मामले को गंभीरता से लिया जाए।