उज्जैन के नजदीक उन्हेल रोड से सटे ग्राम रुई के जैन मंदिर में केसर चंदन की वर्षा का अनोखा मामला सामने आया है। यह मंदिर श्वेतांबर जैन समाज का है। यहां भगवान वीरमणि और पारसनाथ की प्रतिमा स्थापित है। यह मंदिर चार सौ साल पुराना होने का दावा किया जाता रहा है।
ग्रामीणों के साथ मंदिर के पुजारी व ट्रस्टियों का दावा है कि मंदिर परिसर में लगे मार्बल पर जगह-जगह केसर चंदन के छींटे दिखाई पड़ रहे हैं। सभी का कहना है कि यह इसी महीने में दूसरी बार चमत्कार हुआ है।
मंदिर के ट्रस्टी पंकज कुमार ने बताया कि 10 से 13 दिसंबर के बीच भी ऐसा ही वाकया सामने आया था। तब इसे प्राकृतिक घटना मान लिया गया और इसकी चर्चा नहीं हो पाई। लेकिन 12 दिन बाद एक बार फिर यही बारिश हुई तो ग्रामीणों ने इसे ईश्वरीय चमत्कार माना।
पंकज कुमार ने बताया कि चार सौ साल पुाने इस मंदिर का जीर्णोद्धार किया जा रहा है। दो दिन बाद ही मंदिर में पौषी दशमी का पर्व मनाया जाएगा। इसके पहले यह घटना किसी आश्चर्य से कम नहीं मानी जा रही है।
परिवार के साथ विराजित हैं भगवान –
मंदिर का दोबारा जीर्णोद्धार किया गया है। जीर्णोद्धार के बाद 10 दिन के विशेष आयोजन में भगवान धर्म नाथ, विमल नाथ व आदिनाथ प्रभु की मूर्ति भी स्थापित की गई। पहले भगवान अकेले थे अब पूरे परिवार के साथ भगवान बैठे हैं।