गाय को बना लिया रोजगार का जरिया:- गोबर से दीपक, गमले, हवन टिकिया, वर्मी कम्पोस्ट और मूत्र से बना दिया गौ फ्लोर क्लीनर

कोविड की पहली लहर में जॉब गंवाने वाले एक युवक ने गाय को रोजगार का जरिया बना लिया। वेटनरी विवि की मदद से उसने गाय के गोबर से दीपक, गमले, हवन टिकिया, लकड़ी, वर्मी कम्पोस्ट और मूत्र से गौ-फ्लोर क्लीनर तैयार किया है। साथ में तीन बेरोजगारों को रोजगार भी दे रहे हैं। अभी मुनाफे की हालत में तो नहीं पहुंचे हैं, लेकिन लागत और खर्चा निकाल रहे हैं। पांच लाख की लागत से अपना गौ-उत्पाद शुरू करने वाले बालेंद्र तिवारी के मुताबिक जल्द ही वह ऑनलाइन पोर्टल पर भी अपने प्रोडक्ट उपलब्ध कराएंगे।

दैनिक भास्कर से बातचीत में अपने जीवन के संघर्ष को सांझा करते हुए बालेंद्र ने बताया कि कोविड के पहले उनके पास अच्छी जॉब थी। पर कोविड की महामारी ने सब कुछ छीन लिया। कुछ नया करने की सोच रहे थे। खेती-किसानी वाले परिवार से हैं, इस कारण इसी में कुछ नया करने की सोचा। वेटनरी के डॉक्टरों की मदद से गौ आधारित उत्पाद बनाने की ट्रेनिंग ली। इसके बाद पांच लाख रुपए से फरवरी 2021 में अपना स्टार्टअप शुरू किया।

गोबर के दीपक, गमले किए हैं तैयार।

लोकल फार वोकल से मिली मदद

बालेंद्र तिवारी के मुताबिक लोकल फॉर वोकल से उन्हें मदद मिली। इस दीवाली उनके द्वारा तैयार सेलिब्रेशन पैक की खूब बिक्री हुई। दो रुपए की लागत वाले रंगीन दिए उन्होंने प्रति दर्जन 300 रुपए में बेचे और लोगों ने हाथों हाथ लिया। इसी तरह उनके द्वारा हवन टिकिया भी तैयार किया गया है। हवन के लिए लोग लकड़ियों पर निर्भर होते हैं, लेकिन इस हवन टिकिया से सबसे अच्छा हवन होता है।

गौ-फ्लोर क्लीनिक से लेकर हवन टिकिया बनाया।

रहे विभिन्न उत्पाद

एक देशी गाय रोज पांच से छह लीटर गोमूत्र और 10 से 12 किलो गोबर उत्पन्न करती है। पंचगव्य से बेरोजगार कई तरह के उत्पाद तैयार कर अपनी आर्थिक स्थिति सुधार सकते हैं। साथ ही गाय के गोबर व मूत्र का भी कई उपयोग है। गौ-मूत्र व अर्क से कई दवाएं तक बनाई जा रही हैं। किसान के साथ-साथ गरीब पशुपालक अपनी आमदनी बढ़ा सकते हैं।

वर्मी कम्पोस्ट रसायनिक खादों से दिला सकती है छुटकारा।

इस तरह के उत्पाद हो रहे तैयार

गोबर के गमले- गाय के गोबर में पीली मिट्टी और लकड़ी का बुरादा एक निश्चित अनुपात में मिलाकर तैयार करते हैं। एक साइज पौधे के अंकुरण के लिए और बड़े साइज में पौधे रोपते हैं।

हवन टिकिया- गाय के गोबर की छोटी-छोटी टिकिया बनाकर इसे हवन सामग्री के तौर पर बेचते हैं।

वर्मी कंपोस्ट-गोबर के उपयोग से वर्मी कंपोस्ट भी तैयार किया जा रहा है। इस खाद में खनिज लवण और जैव उर्वरक की उच्च गुणवत्ता पाई जाती है। यह बहुत सस्ता है और किसान अपने घर पर तैयार कर सकते हैं।

गोबर लकड़ी- गाय के गोबर से बनी हुई गोबर की लकड़ी का निर्माण ईंधन का बेहतर विकल्प बन सकता है। यह जलाने में आसान और अधिक धुआं भी नहीं करता है।

गौ-अर्क- गौ-अर्क का आयुर्वेद में बहुत बखान किया गया है। गो-मूत्र से इसे तैयार किया जा सकता है।

गौ फ्लोर क्लीनर- गौ-फ्लोर क्लीनर में गौमूत्र, तुलसी अर्क और नमक के साथ सुंगधित सामग्री मिलाकर तैयार करते हैं। यह किसी तरह का साइड इफेक्ट नहीं करता है और सफाई रसायनिक क्लीनर से अच्छा होता है।

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