कोरोना की तीसरी लहर से बचने के लिए वैज्ञानिक और सरकारें अपने स्तर पर तो तैयारी कर ही रही हैं पर उज्जैन के पास उन्हेल के एक 40 वर्षीय पंडित अनोखी यात्रा पर निकल पड़े हैं। पंडित ईश्वर मेहता उन्हेल से उज्जैन के बीच 34 किमी की लोटन (दंडवत) यात्रा करेंगे। वे उज्जैन में महाकाल मंदिर पर जाकर यात्रा समाप्त करेंगे। इसमें उन्हें 10 दिन का समय लग जाएगा। वे केवल पांच स्थानों पर विश्राम करेंगे।
पंडित ईश्वर मेहता का जगह-जगह स्वागत किया गया।
पंडित ईश्वर मेहता ने बताया कि वे महाकाल मंदिर पहुंचकर उनसे कोरोना की तीसरी लहर से बचने की प्रार्थना करेंगे। ताकि देशवासी स्वस्थ बने रहें। पं. मेहता ने बताया कि वे इसीलिये यह यात्रा कर रहे हैं।
सोमवार को उन्होंने इस यात्रा की शुरुआत की। इस दौरान उन्हेल में पं. मेहता का जोरदार स्वागत किया गया। साथ ही वे जैसे ही गांव के बाहर निकले, उनका रास्ते में कई जगह स्वागत किया गया।
इसलिए दंडवत यात्रा
पं. मेहता ने बताया कि अब तक महाकाल के दर्शन के लिए श्रद्धालु कावड़ यात्रा करते हैं। लेकिन आज तक किसी ने भी दंडवत यात्रा नहीं की। मेरी यात्रा का मकसद भी देशवासियों की कोरोना से रक्षा करने के लिए है। मेहता अपने साथ एक गद्दा लेकर चल रहे हैं। उनका कहना है कि वे दस दिनों में अपनी यात्रा पूरी कर लेंगे। इस दौरान केवल 5 जगह विश्राम करेंगे।