शहर के उत्तर-मध्य विधानसभा के कांग्रेस विधायक विनय सक्सेना को लेकर कछपुरा टकराव की स्थिति निर्मित हो गई। विधायक का जहां कुछ लोग सम्मान करने बुलाए थे। वहीं विकास ठप करने का आरोप लगाते हुए कुछ लोग विरोध कर रही थीं। विरोध करने वालों ने विधायक को काले झंडे तक दिखाए। टकराव से आक्रोशित विधायक बोले ये बीजेपी के गुंडे हैं। इन्हें ठीक करना आता है।कछपुरा में 75 लाख के विकास कार्यों को कराए जाने पर स्थानीय महिला मंडल ने विधायक विनय सक्सेना का सम्मान समारोह रखा था। वहीं इस क्षेत्र में कुछ लोगों की समस्या है कि वहा नाली, रोड आदि बुनियादी विकास तक विधायक ने नहीं कराए। इसे लेकर वे विरोध पर अड़े थे। कुछ दिन पहले यहां विधायक के गायब होने का पोस्टर भी चस्पा हुआ था। विधायक का आरोप है कि ये सब बीजेपी के लोगों द्वारा कराया जा रहा है। इसे लेकर पहले से तनाव बना हुआ था।
विधायक का विरोध करने सम्मान वाला दिन चुना
रविवार शाम को महिला मंडल ने विधायक को सम्मानित करने बुलाया था। वहीं जाने के लिए विधायक निकले थे। पर रास्ते में बड़ी संख्या में कुछ लोग हाथों में काले झंडे लेकर प्रदर्शन कर रहे थे। विधायक काे देखकर विरोध कर रहे लोगों ने काले झंडे दिखाए ओर उनके काफिले को रोकने का प्रयास किया। इसे लेकर कांग्रेस के युवा मोर्चा के कार्यकर्ता भी पहुंच गए। दोनों ओर से झड़प की स्थिति निर्मित हो गई। विवाद की खबर मिलते ही मौके पर संजीवनी नगर टीआई, गोरखपुर टीआई, कोतवाली, मदनमहल, कोतवाली सीएसपी, हनुमानताल टीआई भी दल-बल के साथ पहुंच गए। बावजूद विरोध प्रदर्शन कर रहे लोगों ने विधायक के सामने मटके फोड़े।
काफी देर तक चलता रहा हंगामा
विधायक समर्थक और विरोध करने वालों में काफी देर तक हंगामा चलता रहा। कछपुरा युवा संघर्ष समिति व युवा मोर्चा नगर उपाध्यक्ष श्रीकांत कुक्की ने आरोप लगाए कि विधायक 4 साल के कार्यकाल में इस क्षेत्र के विकास कार्यों से मुंह मोड़ चुके हैं। इसी कारण उनका विरोध किया जा रहा है। वहीं विधायक विनय सक्सेना ने बताया कि इस क्षेत्र में वे 75 लाख रुपए विधायक निधि से और 26 लाख रुपए राज्य सभा सांसद विवेक तन्खा से बोलकर खर्च किए हैं। युवा मोर्चा का अध्यक्ष अपने घर तक रोड बनाने का दबाव डाल रहा है। ये तो वे हरगिज़ नहीं करेंगे। विरोध करने वाले बीजेपी के गुंडे हैं और इन्हें ठीक करना हमें आता है।
वार्ड पार्षद चुनाव से पहले नंबर बढ़ाने की कोशिश
नगर निगम के वार्ड पार्षद के चुनाव से पहले की ये कवायद मानी जा रही है। अचानक क्षेत्र विकास की चिंता होने लगी है। संस्कारधानी जबलपुर में इसी सियासी जंग की ये तस्वीर दिखी। विधायक ने खुद की सुरक्षा को लेकर भी सरकार पर निशाना साधा। वहीं कांग्रेस ने इस घटना को लेकर जल्द विशेष बैठक बुलाने की बात कही है। चेतावनी दी कि बीजेपी के नेता ऐसा ही बर्ताव चाहते हैं, तो शहर आने वाले उनके वरिष्ठ नेताओं को भी इसी तरह के विरोध-प्रदर्शन के लिए तैयार रहना होगा।